आजकल बच्चे बिस्किट बहुत शौक से खाते हैं। स्कूल जाते समय, दूध के साथ, या शाम को खेलकर लौटने के बाद — बिस्किट बच्चों का सबसे आसान स्नैक बन गया है। लेकिन हर बिस्किट बच्चों की सेहत के लिए अच्छा नहीं होता। ज़्यादातर बाजार में मिलने वाले बिस्किट मैदा, ज्यादा चीनी, नमक, और प्रिज़रवेटिव्स से बने होते हैं, जो बच्चों की पाचन शक्ति और सेहत पर बुरा असर डाल सकते हैं। इसलिए यह जानना ज़रूरी है कि बच्चों को कौन-से बिस्किट देने चाहिए, कितनी मात्रा में देने चाहिए और किनसे बचना चाहिए।
बच्चों के लिए बिस्किट चुनते समय ध्यान देने योग्य बातें
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कम चीनी (Low Sugar):
बच्चों को ज्यादा मीठा नुकसान पहुंचाता है — दाँत खराब कर सकता है और मोटापा भी बढ़ा सकता है। -
होल व्हीट या मल्टीग्रेन (Whole Wheat/Millets):
गेहूं, रागी, ज्वार जैसे अनाज से बने बिस्किट फाइबर और पोषण से भरपूर होते हैं। -
कम फैट और बिना प्रिज़रवेटिव्स:
बच्चों के लिए ऐसे बिस्किट अच्छे हैं जिनमें ट्रांस फैट या आर्टिफिशियल कलरिंग न हो। -
पचने में आसान:
छोटे बच्चों का पेट संवेदनशील होता है, इसलिए बिस्किट हल्के होने चाहिए।
बच्चों के लिए सुरक्षित और आसानी से मिलने वाले बिस्किट
| बिस्किट का नाम | क्यों ठीक है? | कहाँ मिलता है? |
|---|---|---|
| Marie Gold (Britannia) | कम फैट, हल्का, दूध के साथ ठीक | हर किराना स्टोर |
| Parle-G | सस्ता, बच्चों को पसंद, एनर्जी देता है | हर जगह आसानी से |
| Milk Bikis (Britannia) | दूध के पोषक तत्व, बच्चों को स्वादिष्ट लगता है | शहर और गाँव दोनों में |
| Tiger Biscuit (Britannia) | आयरन फोर्टिफाइड, एनर्जी के लिए | छोटे गाँव तक उपलब्ध |
| Sunfeast Glucose | हल्का और सस्ता | हर किराना दुकान |
| NutriChoice Digestive (Sunfeast) | हाई फाइबर, थोड़ी महंगी लेकिन हेल्दी | मेडिकल/किराना स्टोर |
ये बिस्किट कभी-कभार और सीमित मात्रा में देना सही है।
किन बिस्किट्स से बच्चों को दूर रखें?
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क्रीमी बिस्किट्स (जैसे Bourbon, Jim Jam, Oreo): इनमें बहुत ज्यादा चीनी और फैट होता है।
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चॉकलेट और शुगर-कोटेड बिस्किट्स: बच्चों की दाँत और पाचन शक्ति खराब कर सकते हैं।
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ज्यादा नमकीन बिस्किट्स: छोटे बच्चों की किडनी पर असर डालते हैं।
बच्चों को रोज़ कितने बिस्किट देने चाहिए?
| उम्र | सुरक्षित मात्रा |
|---|---|
| 1–3 वर्ष | 1–2 छोटे बिस्किट (दिन में सिर्फ 1 बार) |
| 4–6 वर्ष | 2–3 बिस्किट (दिन में 1–2 बार) |
| 7–10 वर्ष | 3–4 बिस्किट (कम शक्कर वाले) |
ध्यान रहे: बिस्किट कभी भी भोजन का विकल्प नहीं हैं।
इन्हें केवल स्नैक्स या दूध के साथ दें।
बच्चों को बिस्किट देने का सही समय
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सुबह दूध के साथ
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शाम को स्कूल/खेल के बाद
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कभी भी खाली पेट बहुत सारे बिस्किट न दें
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भारी खाने के तुरंत बाद बिस्किट न खिलाएँ
हेल्दी स्नैक्स के विकल्प
अगर आप बच्चों को और भी अच्छा विकल्प देना चाहते हैं, तो ये विकल्प बिस्किट से बेहतर हैं:
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भुना हुआ चना या मखाना
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घर का बना सूजी टोस्ट या मूंग दाल चीला
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फल (सेब, केला, अमरूद)
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रागी/बाजरे के लड्डू
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घर पर बने गेहूं और गुड़ वाले बिस्किट
घर पर बने बिस्किट सबसे अच्छे क्यों?
अगर आपके पास समय है तो घरेलू बिस्किट बच्चों के लिए सबसे अच्छे हैं।
गेहूं का आटा, थोड़ा सा गुड़, और देसी घी मिलाकर बनाए गए बिस्किट न सिर्फ स्वादिष्ट होते हैं बल्कि बच्चों के पेट को भी नुकसान नहीं पहुँचाते।
बच्चों को बिस्किट देना गलत नहीं है, लेकिन सही बिस्किट चुनना और उनकी मात्रा पर ध्यान देना बेहद ज़रूरी है।
Marie Gold, Parle-G, Milk Bikis, Tiger जैसे सस्ते और आसानी से मिलने वाले बिस्किट बच्चों के लिए सीमित मात्रा में सुरक्षित हैं।
पर अगर संभव हो तो घर पर बने बिस्किट या हेल्दी स्नैक्स बच्चों को दीजिए।